अमन संवाद/सिंगरौली
सरई थाना क्षेत्र स्थित शासकीय कस्तूरबा गांधी छात्रावास में रहकर पढ़ाई करने वाली कक्षा-8 की छात्रा ने एक बच्चे को जन्म दिया, जिसके बाद से हड़कंप मचा हुआ है। बताया जा रहा है कि आदिवासी वर्ग की 15 वर्षीय किशोरी होली की छुट्टी में अपने घर गई थी,जहां पर शुक्रवार को उसके पेट में दर्द होने पर परिजन इलाज के लिए अस्पताल लेकर आए। किशोरी की जांच कर चिकित्सकों ने बताया कि वह गर्भवती है। कुछ देर बाद ही बालिका ने अस्पताल में एक बच्चे को जन्म दिया। किशोरी और उसका बच्चा दोनों स्वस्थ हैं। किशोरी ने बताया कि पिछले वर्ष जुलाई माह में जब वह छात्रावास से अपने घर जा रही थी तभी एक ऑटो चालक मिला। ऑटो चालक उसे सुनसान जगह पर ले गया और दुष्कर्म किया। लोक लाज के डर से किशोरी ने किसी से भी घटना के बारे में नहीं बताया था।
पुलिस ने बताया कि किशोरी के साथ दुष्कर्म जुलाई माह में हुआ था। उसके द्वारा घटना की सूचना किसी को नहीं दी गई थी। पुलिस इस बात को लेकर हैरान है कि पिछले 9 माह से किशोरी के पेट में गर्भ पल रहा था जिसकी जानकारी छात्रावास के लोगों और उसके परिजनों तक को नहीं हुई। जबकि इस बीच किशोरी छात्रावास में भी रही और अपने घर भी कई बार गई। वहीं किशोरी के बयान पर भी पुलिस को संदेह हो रहा है। लिहाजा पुलिस हर बिंदु की बारीकी से जांच कर रही है।
इस घटना के सामने आने के बाद पुलिस और प्रशासनिक अमले में हडकंप मचा हुआ है। वहीं पुलिस छात्रावास में लगे सीसीटीवी फुटेज व सुरक्षा के प्रबंधों की जांच कर रही है। हैरानी इस बात की है कि छात्रावास में रहने वाली छात्रा 9 माह से पेट में गर्भ लिए घूम रही थी लेकिन उसके बारे में वार्डन तक को जानकारी नहीं लगी। जबकि सामान्य भाव में अगर कोई महिला गर्भवती होती है तो गर्भधारण करने के तीन-चार माह बाद ही पता चलता है कि पेट में गर्भ है। पुलिस द्वारा दुष्कर्म सहित अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज कर अज्ञात ऑटो चालक की तलाश की जा रही है।
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