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पत्रकारिता विश्वविद्यालय में मनाया गया होली मिलन समारोह


अमन संवाद/भोपाल

माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता एवं संचार विश्वविद्यालय माखनपुरम बिशनखेड़ी परिसर में होली मिलन समारोह का आयोजन किया गया।

इस अवसर पर  विश्वविद्यालय के कुलगुरु विजय मनोहर तिवारी ने सभी शिक्षकों, अधिकारियों और कर्मचारियों को होली की शुभकामनाएं दीं। अपने उद्बोधन में उन्होंने होली पर लिखे और गाए एक गीत और एक नज्म का विशेष तौर पर जिक्र किया। 1963 में बनी फिल्म गोदान,जिसमें प्रसिद्ध गायक मोह. रफी ने होली पर एक गीत गाया था, जिसके बोल थे "होली खेलत नंदलाल, बिरज में होली खेलत नंदलाल"। 

श्री तिवारी ने कहा कि मोहम्मद रफी का गाया और मेहमूद के अभिनय वाले  इस गीत में गांव की टोली है और महमूद ने अपने अभिनय से पूरे भारत का परिचय दे दिया है। इसके साथ ही उन्होंने नजीर अकबराबादी की एक नज्म "जब फागुन रंग झमकते हैं, तब देख बहारें होली" का भी जिक्र किया, जिसे गायिका छाया गांगुली ने गाया था। 

कुलगुरु श्री तिवारी ने भारत की गंगा-जमुनी तहजीब की प्रशंसा करते हुए विश्वविद्यालय में सभी को होली की बधाई दी। इसके बाद चंदन, गुलाल एवं फूलों की होली खेली गई। इस मौके पर विश्वविद्यालय के सहायक कुलसचिव विवेक सावरीकर, वरिष्ठ सहायक प्राध्यापक लोकेंद्र सिंह, एकता बिरवा,प्रियंका सोनकर एवं राहुल प्रजापति ने होली पर मधुर गीतों और कविताओं की प्रस्तुति दी। इस अवसर पर कुलसचिव डॉ. अविनाश वाजपेयी, डीन अकादमिक डॉ. पी.शशिकला, समस्त विभागाध्यक्ष डॉ. पवित्र श्रीवास्तव, डॉ. मोनिका वर्मा, डॉ. आरती सारंग, डॉ. संजीव गुप्ता, डॉ. राखी तिवारी, कैंपस मेंटर डॉ. मणिकंठन नायर, निदेशक प्रोडक्शन  डॉ.आशीष जोशी, परीक्षा नियंत्रक डॉ. राजेश पाठक, निदेशक एएसआई डॉ. बबीता अग्रवाल, समस्त शिक्षक, अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित थे।

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